रेलवे स्टेशननई दिल्ली रेलवे स्टेशन भगदड़

नई दिल्ली रेलवे स्टेशन भगदड़

नई दिल्ली रेलवे स्टेशन भगदड़: 18 की मौत

नई दिल्ली रेलवे स्टेशन भगदड़: 18 लोगों की दर्दनाक मौत, सिस्टम पर उठे सवाल

15 फरवरी 2025 की शाम को नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर ऐसा मंजर देखने को मिला, जिसने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। हजारों तीर्थयात्रियों की भीड़, अव्यवस्थित प्रबंधन और प्रशासन की लापरवाही के कारण भगदड़ मच गई। इस हादसे में 18 लोगों की जान चली गई, जिनमें 14 महिलाएं और 4 बच्चे शामिल थे।

कैसे हुई यह भयावह भगदड़?

इस घटना का मुख्य कारण महाकुंभ मेला था, जिसकी वजह से प्रयागराज जाने वाले तीर्थयात्रियों की संख्या कई गुना बढ़ गई थी। यात्रियों की भारी भीड़ के बीच ट्रेनों की देरी और प्लेटफार्म बदलने की अचानक घोषणा ने अफरातफरी मचा दी।

  • यात्रियों में भ्रम और घबराहट फैल गई।
  • भीड़ इतनी ज्यादा थी कि सुरक्षा कर्मी भी हालात संभालने में नाकाम रहे।
  • प्लेटफॉर्म पर धक्का-मुक्की शुरू हो गई और लोग गिरने लगे।
  • कुछ यात्री फिसलकर पटरी पर गिर गए, जिससे भगदड़ और तेज हो गई।

एक कुली ने बताया: “मैं 1981 से इस स्टेशन पर हूं, लेकिन ऐसी भीड़ पहले कभी नहीं देखी। यात्रियों को संभालने के लिए कोई इंतजाम नहीं था।” (प्रभात खबर)

रेलवे और प्रशासन की लापरवाही?

अगर प्रशासन पहले से तैयारी करता तो यह हादसा टल सकता था। रेलवे को पता था कि महाकुंभ मेला के कारण यात्रियों की भीड़ ज्यादा होगी, फिर भी:

  • पर्याप्त संख्या में सुरक्षाकर्मी नहीं थे
  • प्लेटफॉर्म बदलने की जानकारी अचानक दी गई, जिससे यात्री घबरा गए।
  • इमरजेंसी निकास के इंतजाम नाकाफी थे।

सरकार और रेलवे की प्रतिक्रिया

इस घटना के बाद, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हादसे पर गहरा दुख जताते हुए यात्रियों की सुरक्षा बढ़ाने का निर्देश दिया है।

भविष्य में ऐसे हादसे रोकने के लिए सुझाव

  • डिजिटल अनाउंसमेंट सिस्टम लागू करना – यात्रियों को रियल-टाइम में जानकारी मिलनी चाहिए।
  • पर्याप्त सुरक्षाकर्मियों की तैनाती – भीड़भाड़ वाले स्टेशनों पर RPF और GRP की संख्या बढ़ाई जानी चाहिए।
  • सीसीटीवी और AI बेस्ड भीड़ नियंत्रण – भीड़ को नियंत्रित करने के लिए नई तकनीकों का इस्तेमाल किया जाना चाहिए।

निष्कर्ष

इस दर्दनाक घटना ने एक बार फिर प्रशासन की कमजोर तैयारियों को उजागर कर दिया है। तीर्थयात्राओं और धार्मिक आयोजनों के दौरान यात्रियों की सुरक्षा को पहली प्राथमिकता बनाना होगा।

हमारी वेबसाइट ActionZone.in पर इस हादसे से जुड़े अपडेट और यात्रियों के अनुभव साझा किए गए हैं। यदि आपके पास कोई जानकारी है, तो हमें कमेंट सेक्शन में जरूर बताएं।

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